Wednesday, January 29, 2014

आटो साम्राज्य को अनुशासित करने की कवायदें जारी,लेकिन आटो के बदले फोर व्हीलर की आमदनी के अलावा बदलेगा नहीं कुछ भी অটো দৌরাত্ম্যে লাগাম টানতে কড়া পদক্ষেপ

आटो साम्राज्य को अनुशासित करने की कवायदें जारी,लेकिन आटो के बदले फोर व्हीलर की आमदनी के अलावा बदलेगा नहीं कुछ भी

অটো দৌরাত্ম্যে লাগাম টানতে কড়া পদক্ষেপ



एक्सकैलिबर स्टीवेंस विश्वास


बंगाल में सरकार चाहे जुस किसी की हो,बंगाल की सड़कों पर लेकिन आटो राज का सिलसिला जारी है।इस सिलसिले को  तोड़ने के लिए मां माटी मानुष की सरकार ने आगामी लोकसभा चुनाव के बाद महानगर कोलकाता को आटोमुक्त बनाने की योजना बनायी है।कोलकाता महानगर में ट्राफिक समस्याओं की बड़ी वजह आटो अराजकता है।संगठित आटो शक्ति के आगे पुलिस मंत्री सब असहाय हैं। आम यात्री किस खेत की मूली है।बात बेबात यात्रियों से बुरा सलूक कोलकाता का रोजनामचा है और अब तो महिलाओं के साथ पुलिस की पिटाई भी करने लगे हैं यूनियनों की ताकत से महाबलि बने आटो ड्राइवर।खुद परिवहन मंत्री मदन मित्र सड़क पर उतरकर इस आटो साम्राज्य पर अंकुश लगाने में फेल हो रहे हैं।


सूत्रों के मुताबिक आटो के बदले जिसतरह एअरपोर्ट से बाली ब्रिज तक फोर व्हीलर चालू किया गया है,उसीतरह पूरे महानगर और हावड़ा में भी फोर व्हीलर चालू करने की योजना है। इसमें सभी आटोजनों को कैसे खपाया जायेगा,इस गुत्ती को सुलझाने की कोशिश हो रही है।


गौरतलब है कि वाम जमाने में भी महानगरों,नगरों,उपनगरों और कस्बों में वामदलों की मुख्य कैडरशक्ति आटो य़ुनियनों में ही समाहित थीं। वे तमाम आयोजनों,जुलूसों से लेकर नक्कड़ सभाओं में भी पार्टी को भीड़ जुटाने में मददगार थीं।बिना लाइसेंस आटो वाम जमाने में खूब चलते रहे हैं।लेकिन यूनियनों की दुधारु गायों को पार्टीबद्ध सरकार का पूरा संरक्षण था।जबकि आम यात्रियों और सड़क पर निकलने वाली जनता के लिए यह संगठित बाहुबल का रंग बिरंगा झरोका तब भी था। आटो यूनियनों की भूमिक बदली नहीं है।भले ही सरकार बदल गयी है।नये जमाने में उनका वही इस्तेमाल हो रहा है।छिटपुट उपद्रवों के मद्देनजर यह व्यवस्था बदलने के आसार नहीं है।


बहरहाल आटो साम्राज्य को अनुशासित करने की कवायदें जारी हैं। परिवहन मंत्री बार बार नियम तोड़ने वाले ड्राइवरों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का ऐलान कर रहे हैं और उसीके मध्य रोज कुछ कुछ हो रहा है।इस कुछ कुछ के खिलाफ भी पुलिसिया कार्रवाई हो रही है।अब हेल्पलाइन से लेकर मोड़ों पर साइन बोर्ड लगाने के इंतजामात भी हो रहे हैं।


यह भी सच है कि आटो ड्राइवरों में बड़ी संख्या में शिक्षित बेरोजगार हैं और वे अत्यंत भद्र भी हैं।लेकिन वे लोग भी यूनियनों के मातहत हैं जो शुरु से पार्टी बद्ध हैं।कोलकाता में ही सरकार कभी पचास हजार तो कभी 25 हजार बिना लाइसेंस आटो चलने की बात करती रहती है लेकिन उन्हें हटाकर लाइसेंसधारकों की मदद करने की कोई कोशिश नहीं होती।


पहले आटो को एलपीजी में तब्दील करने की कवायद हुई तो अब आटो को फोर वहीलर बनाने की कवायद भूमिगत तौर पर चल रही है। सड़कों पर गाड़ी लेकर चलने के हजार झमेले हैं तो लागत लगातार बढ़ती जा रही है।आटो सुधार के लिए दो सदस्यीय कमिटी की सिपारिशों के तहत हर रुट के लिए भाड़ा तट करने की बात हुई।लेकिन किसी भी रुट पर तय भाड़ा अभी लागू हुआ नहीं है। तो कभी भाड़े को लेकर तो कभी खुदरा को लेकर आटोवालों का विवाद आम है।ऐसा वाम जमाने से चला आ रहा है।चूंकि आटोवाले यूनियनबद्ध पार्टीबद्ध हैं तो हमेशा पिटे जाने वाले आम नागरिक ही होते हैं।अब तो महिलाओं की भी पिटाई होने लगी है।


बहरहाल,आटो को फोरवहीलर में तब्दील करने से एलपीजी से चलनेवाले आटो के मुकाबले माइलेज घटने और लागत बढ़ने की संभावना से आटो जनता परेशान है।भाड़ा लागत के मुताबिक विनियंत्रित तेलबाजार के हिसाब से न बस के लिए तय हो पा रहा है , न टैक्सी और आटो के लिए।तो किराया विवाद का सिलसिला जारी ही रहेगा और चूंकि थ्री व्हीलर हो या फोर व्हीलर.पार्टी बद्ध यूनियनों का सड़कों पर वर्चस्व बना ही रहना है,इसलिए बदलेगा कुछ भी नहीं।



অটো দৌরাত্ম্যে লাগাম টানতে কড়া পদক্ষেপ

কলকাতা: অটোচালকদের লাগামছাড়া দৌরাত্ম্যে ঠেকাতে কড়া পদক্ষেপ করছে রাজ্য সরকার৷ ভাড়া নিয়ে স্বেচ্ছাচার রুখতে তৈরি হল দুই সদস্যের কমিটি৷ অটো সংক্রান্ত অভিযোগ জানানোর জন্য সোমবার থেকে চালু হচ্ছে বিশেষ কন্ট্রোল রুমও৷ অটোচালকদের দৌরাত্ম্য লাগামছাড়া পর্যায়ে চলে গিয়েছে বলে অভিযোগ আমজনতারই৷। এ ব্যাপারে অভিযোগের পাহাড় জমেছে৷ কিছু ক্ষেত্রে ব্যবস্থাও নেওয়া হয়েছে৷ কিন্তু তাতেও হুঁশ ফিরছে কই? তাই এবার অটোচালকদের বেপরোয়া মনোভাবে রাশ টানতে একগুচ্ছ কড়া ব্যবস্থা নিল রাজ্য সরকার৷

মদন মিত্র

শুক্রবার লালবাজারে পুলিশ কমিশনার এবং অ্যাডিশনাল পুলিশ কমিশনারের সঙ্গে বৈঠকে বসেন পরিবহণমন্ত্রী মদন মিত্র এবং পরিবহণসচিব আলাপন বন্দ্যোপাধ্যায়৷ সেখানে পরিবহণসচিব এবং অ্যাডিশনাল পুলিশ কমিশনারকে নিয়ে দুই সদস্যের কমিটি গঠন করা হয়েছে৷ অটো চালকদের দৌরাত্ম্যে কীভাবে রাশ টানা যায়, তা খতিয়ে দেখবে এই কমিটি৷ ভাড়া নির্ধারণের ক্ষেত্রে এই কমিটি নাক না গলালেও কোনও অটোচালক অন্যায্য ভাড়া নিলে সেক্ষেত্রে কমিটি হস্তক্ষেপ করবে৷

সোমবার থেকে চালু হচ্ছে বিশেষ কন্ট্রোল রুম৷ কন্ট্রোলরুমের নম্বর ১০৭৩৷ সকাল সাড়ে সাতটা থেকে রাত এগারোটা পর্যন্ত ফোন করে অটো সংক্রান্ত অভিযোগ জানানো যাবে৷

পাশাপাশি আগামী দশদিনে শহরে বিভিন্ন রাস্তায় লাগানো হবে একশোটি সাইনবোর্ড৷ যেখানে কন্ট্রোল রুমের নম্বরের পাশাপাশি থাকবে ওই এলাকার কাউন্সিলর এবং বিধায়কের ফোন নম্বর৷ পরিবহণমন্ত্রী স্পষ্টই জানিয়ে দিয়েছেন, ২৬ তারিখ চূড়ান্ত সময়সীমা দেওয়া হচ্ছে৷ ২৭ তারিখ থেকে আর কোনও অভিযোগ বরদাস্ত করা হবে না৷ পরিস্থিতি খতিয়ে দেখতে শনিবার তিনি রাস্তায় নামবেন বলে জানা গিয়েছে৷।২৭ তারিখের পর থেকে পরিবহণ দফতরও অটোর ওপর নজরদারি চালাবে৷ অটো দৌরাত্ম্যে লাগাম টানার জন্য সমস্ত ট্রাফিক গার্ডকেও প্রয়োজনীয় ব্যবস্থা নিতে নির্দেশ দেওয়া হয়েছে৷

http://abpananda.abplive.in/kolkata/2014/01/24/article253609.ece/%E0%A6%85%E0%A6%9F%E0%A7%8B-%E0%A6%A6%E0%A7%8C%E0%A6%B0%E0%A6%BE%E0%A6%A4%E0%A7%8D%E0%A6%AE%E0%A7%8D%E0%A6%AF%E0%A7%87-%E0%A6%B2%E0%A6%BE%E0%A6%97%E0%A6%BE%E0%A6%AE-%E0%A6%9F%E0%A6%BE%E0%A6%A8%E0%A6%A4%E0%A7%87-%E0%A6%95#.UukLztK6Zkg


সুরাহার হদিশ নেই অটো-কমিটির রিপোর্টে

এই সময়: আড়ম্বর-আয়োজনই সার৷ শেষ পর্যন্ত সেই মূষিক-প্রসব৷


অটো নিয়ে পরিবহণ সচিব আলাপন বন্দ্যোপাধ্যায়ের নেতৃত্বাধীন দুই সদস্যের কমিটি সোমবার তাদের রিপোর্ট পরিবহণ মন্ত্রীর হাতে তুলে দিল৷ কিন্তু সে রিপোর্টে ভাড়া নিয়ে কোনও মন্তব্যই করা হয়নি৷ অথচ, বিগত কয়েক মাস ধরেই ভাড়া নিয়ে যাত্রীদের নাজেহাল হতে হচ্ছে শহরে৷ সেই সঙ্গেই দিনকে দিন বাড়ছে অটো চালকদের একাংশের দৌরাত্ম্যও৷ কিন্ত্ত দশ দফা সুপারিশে সে সম্পর্কেও বিশেষ কোনও মত দেয়নি কমিটি৷ কমিটি শুধু বলেছে, প্রাইভেট গাড়ির মতো অটোতেও হাই-সিকিউরিটি রেজিস্ট্রেশন প্লেট ব্যবহার বাধ্যতামূলক করা হোক৷ তাতে বেআইনি অটো চিহ্নিতকরণ সহজ হবে৷


অটো-রাজের বিরুদ্ধে পুলিশি অভিযান অবশ্য চলছে৷ সোমবারই পুলিশের তরফে বৈধ কাগজপত্র না থাকায় ৪৪টি অটোকে বাজেয়াপ্ত করা হয়েছে৷ কলকাতা পুলিশের ডিসি (ট্র্যাফিক) দিলীপ আদক জানিয়েছেন, সব মিলিয়ে অটো সংক্রান্ত ৫৪৫টি মামলা রুজু হয়েছে৷ অটোর বিরুদ্ধে টানা অভিযান চলবে৷


অটো-দৌরাত্ম্যে রাশ টানার উদ্দেশ্যেই গত ৯ জানুয়ারি পরিবহণ সচিব এবং কলকাতার বিশেষ পুলিশ কমিশনার সৌমেন মিত্রকে নিয়ে কমিটি গড়েছিল সরকার৷ হাই-সিকিউরিটি রেজিস্ট্রেশন প্লেট ছাড়া সেই কমিটির সুপারিশ বলতে অটো-চালকদের জন্য ইউনিফর্ম চালু এবং আয় বাড়াতে বাসের মতো অটোতেও বিজ্ঞাপন লাগানোর অনুমতি দেওয়া সংক্রান্ত বহু-চর্চিত বিষয়৷ বছরখানেক আগেই পরিবহণ দপ্তরের বিশেষ সচিব আশিস ঠাকুরের নেতৃত্বে আরও একটি কমিটি গড়া হয়েছিল৷ সেই কমিটি কিন্ত্ত ভাড়া বেঁধে দেওয়ার সুপারিশ করেছিল৷ বলা হয়েছিল, কোনও অটোর রুট ৯ কিলোমিটারের বেশি হবে না৷ ভাড়া হবে তিন কিলোমিটার পর্যন্ত ৫ টাকা, পাঁচ কিমি পর্যন্ত ৭ টাকা, ন' কিমি পর্যন্ত ৯ টাকা৷ বড় রাস্তায় অটো চলাচল নিষিদ্ধ করারও সুপারিশ করা হয়েছিল৷ সে-সব সুপারিশই এখনও ফাইল-বন্দি৷ এর মধ্যেই নতুন কমিটি গড়া হল এবং কার্যত কোনও গুরুত্বপূর্ণ সুপারিশই করা হল না৷ এমনকী অটো-কে কন্ট্রাক্ট ক্যারেজে বদলাতে হাইকোর্টের মতামত প্রসঙ্গেও নীরব আলাপনবাবুদের রিপোর্ট৷


তবে অটোর দৌরাত্ম্য রুখতে কোথাও কোথাও নাগরিকরাই অগ্রণী ভূমিকা নিচ্ছেন৷ দক্ষিণ কলকাতার রামগড় কলোনি নাগরিক পরিষদ রবিবার প্রকাশ্যে সভা করে এগারো দফা সিদ্ধান্ত নিয়েছে৷ পরিষদের সিদ্ধান্ত, কোনও ভাবেই কাটা রুটে (যাত্রাপথ যেমন-তেমন কমিয়ে ফেলা) অটো চালানো যাবে না৷ বৈধ পারমিট নিয়েই অটো চালাতে হবে৷ প্রত্যেক অটোয় পুলিশে অভিযোগ জানানোর ১০৭৩ নম্বর লিখতে হবে৷ খুচরো সমস্যার সমাধান করতে হবে চালককেই৷ এই ঘটনাক্রমের মধ্যেই পরিবহণ মন্ত্রীর স্বীকারোক্তি, 'শহরে সরকারি ভাবে ১২৫টি অটো-রুট আছে৷ এর বাইরেও বহু বেআইনি রুট আছে৷ তবে অটোর কাগজপত্র সব ঠিক আছে কি না, কোনও অটোচালক বেশি ভাড়া নিচ্ছেন কি না, সব দেখা হচ্ছে৷'


অটো-নিয়ন্ত্রণে ফের হুমকি দিলেন মদন

নিজস্ব সংবাদদাতা • ইসলামপুর

টোচালকদের উদ্দেশে ফের হুমকি দিলেন পরিবহণমন্ত্রী মদন মিত্র। আবার তিনি বললেন, যাত্রীদের সঙ্গে অভব্য আচরণ বা মারধর করলে সংশ্লিষ্ট চালকের বিরুদ্ধে শুধু ব্যবস্থা নেওয়া নয়, প্রয়োজনে অভিযুক্তের অটো চালানোই বরাবরের মতো বন্ধ করে দেবে রাজ্য প্রশাসন।

এর আগে ২৬ জানুয়ারি পর্যন্ত অটোচালকদের নিজেদের শুধরে নেওয়ার সময় দিয়েছিলেন মন্ত্রী। তার পরে সরকার অটোর দৌরাত্ম্য রুখতে অভিযান শুরু করবে বলে জানিয়েছিলেন তিনি। তবে পরিবহণ দফতরের কর্তাদের একাংশ বলছেন, "অতীতেও অনেক বার মন্ত্রী অটোকে শৃঙ্খলায় বাঁধতে নানা হুমকি দিয়েছেন। তাতে কাজের কাজ কিছুই হয়নি। প্রশাসন হাতেকলমে কড়া ব্যবস্থা না নিলে কিছুই হবে না।"

বৃহস্পতিবার উত্তর দিনাজপুরের ইসলামপুরে অতিরিক্ত আঞ্চলিক পরিবহণ দফতর উদ্বোধন করতে গিয়ে পরিবহণমন্ত্রী বলেন, "২৬ জানুয়ারি পর্যন্ত সময় দিচ্ছি। ২৭ জানুয়ারি থেকে অটোচালকেরা বুঝবেন প্রশাসন কী! খুচরোর জন্য কারও মাথা ফাটিয়ে দেবে, খুন করবে কিংবা মা-বোনেদের সঙ্গে অশালীন আচরণ করবে, তা কোনও মতেই হতে দেওয়া যায় না। অভিযোগ উঠলে চালকের বিরুদ্ধে কড়া ব্যবস্থা নেওয়া হবে। ওই অটো পুরোপুরি বন্ধ করে দেওয়া হবে।"

অটোর লাগামছাড়া দৌরাত্ম্যে নাজেহাল কলকাতার মানুষ। গত এক সপ্তাহে পরপর তিন অটোচালকের অভব্য আচরণের ঘটনা সামনে এসেছে। খুচরো না দিতে পারায় তারাতলায় এক মহিলাকে চড় মারে এক অটোচালক। এর পরে পার্ক সার্কাসে দাবিমতো বেশি ভাড়া দিতে না চাওয়ায় এক মহিলাকে রড দিয়ে মেরে মাথা ফাটিয়ে দেয় আর এক অটোচালক। মঙ্গলবার রাতে মত্ত অবস্থায় অন্য এক অটোচালক গড়িয়া এলাকার রামগড়ে এক বৃদ্ধকে ধাক্কা দিলে তাঁর মৃত্যু হয়।

তারাতলা এবং পার্ক সার্কাসের ঘটনার পরে পরিবহণমন্ত্রী হুঁশিয়ারি দিয়েছিলেন, ২৬ জানুয়ারির মধ্যে অটোচালকেরা নিজেদের শুধরে না নিলে পরের দিন থেকেই প্রশাসন তাদের বিরুদ্ধে ব্যবস্থা নেবে। বুধবার গড়িয়ার ঘটনার পরে মদনবাবু বলেন, ২৫ তারিখেই তিনি কলকাতা পুলিশের শীর্ষ কর্তাদের সঙ্গে অটোশাসন নিয়ে বৈঠকে বসবেন।

পরিবহণমন্ত্রীর এ দিনের হুমকির প্রসঙ্গে তৃণমূলের শ্রমিক সংগঠন আএনটিটিইউসি-র রাজ্য সভানেত্রী দোলা সেন বলেন, "অটোকে আইনে আনতে সরকার যে পদক্ষেপ করবে, তাকেই আমরা স্বাগত জানাই।" তবে সিটু-র অটো ইউনিয়নের নেতা বাবুন ঘোষ বলেন, "শুধু মুখের কথায় কাজ হবে না। যা বলছেন, তা আগে হাতেকলমে করে দেখান মন্ত্রী।"

http://www.anandabazar.com/archive/1140124/24raj6.html


'বেআইনি' অটো ২৫ হাজার, ব্যবস্থা নিতে দ্বিধায় মন্ত্রী মদন

নিজস্ব সংবাদদাতা • কলকাতা

টো-রাজ নিয়ন্ত্রণে এ বার বেআইনি অটোকে 'হাতিয়ার' করছেন পরিবহণমন্ত্রী মদন মিত্র। সোমবার বারাসতে অটোর ধাক্কায় আহত শিশু রাজকুমার দাসকে দেখতে গিয়ে কার্যত হুমকি দিলেন পরিবহণমন্ত্রী। তাঁর কথায়, "২৫ হাজারের মতো অবৈধ অটো রয়েছে। বুধবারের মধ্যে সরকারি বিধি মেনে যদি অটো নিয়ে রাস্তায় না নামেন, তা হলে এটাই হবে শেষ অবরোধ। সমস্ত অবৈধ অটো খুঁজে বার করে গ্যারাজে ঢুকিয়ে দেব।"

তবে সরকারের কথা মেনে চললে বেআইনি অটো নিয়ে ভাবারও প্রতিশ্রুতি দিয়েছেন মন্ত্রী। তিনি বলেন, "একগুঁয়েমি ছেড়ে দিয়ে সরকারের সঙ্গে সহযোগিতা করুন। তা হলে বেআইনি অটো নিয়ে কী করা যায়, মন্ত্রিগোষ্ঠীতে সে বিষয়ে আলোচনা করব।"

বিরোধী দল সিপিএম প্রভাবিত শ্রমিক সংগঠন সিটুর নেতারা অবশ্য মন্ত্রীর দেওয়া বেআইনি অটোর তত্ত্বই উড়িয়ে দিয়েছেন। সিটুর নেতা কিশোর ঘোষ বলেন, "এত বেআইনি অটো আছে বলে কোনও তথ্য আমাদের কাছে নেই। বেআইনি অটো চললে সরকার ধরবে। এ নিয়ে আমরা কী বলব!"

এ দিন বিকেলে মহাকরণে অটোকে নিয়ন্ত্রণে আনার বিষয়টি নিয়ে পরিবহণমন্ত্রীর সঙ্গে বৈঠক করেন মুখ্যসচিব সমর ঘোষ, পরিবহণসচিব ভগবতীপ্রসাদ গোপালিকা। উপস্থিত ছিলেন কলকাতা ও রাজ্য পুলিশের পদস্থ কর্তারাও। সেখানেও অবৈধ অটোর বিরুদ্ধে অভিযানের বিষয়টি নিয়ে আলোচনা হয়েছে।

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বৈঠকে ঠিক হয়েছে, মঙ্গলবার থেকে অধিক যাত্রী তোলা থেকে শুরু করে বিভিন্ন জায়গায় অটোর লাইসেন্স, রুট পারমিটও পরীক্ষা করে দেখা হবে।

তবে মন্ত্রীর দাবি, অধিকাংশ অটোই নিয়ম মেনে চলছে। কিছু অটোর জন্য বদনাম হচ্ছে। বারাসতে তিনি এ দিন বলেন, "৮০ শতাংশ অটো নিয়ন্ত্রণে চলছে। ২০ শতাংশ অটো গোলমাল পাকাচ্ছে। তাদের জন্য সব অটোচালকদের সেই অন্যায়ের ভাগ নিতে হচ্ছে।" পাশাপাশি মন্ত্রী এ-ও বলেন, "অটো-রাজ খতম করে সুষ্ঠু পরিষেবা চালুর নির্দেশ দেওয়া হয়েছে।" পুলিশের হিসেবে, কলকাতা ও লাগোয়া জেলাগুলি মিলিয়ে প্রায় ৭০ হাজার অটো চলে। মন্ত্রীর বেআইনি অটোর হিসেব ধরলে, তার ৩৫ শতাংশ অটোই বেআইনি।

অটোচালকদের ধর্মঘটের জেরে অবশ্য এ দিনও বিপাকে পড়েন কলকাতা ও শহরতলির বিভিন্ন এলাকার মানুষ। উত্তর ২৪ পরগনার ব্যারাকপুরের বিভিন্ন রুটে অটো চলাচল ব্যাহত হওয়ায় বিপাকে পড়েন যাত্রীরা। ব্যারাকপুরে অটো চলাচল নিয়ে সমস্যা চলছে গত দু'তিন দিন ধরে। যাত্রীদের অভিযোগ, অটো কম চলার পাশাপাশি মাঝেমাঝেই বিভিন্ন রুটে অটোচালকেরা নির্দিষ্ট গন্তব্যে যেতে রাজি হচ্ছেন না।

এ দিন সকাল থেকে ব্যারাকপুর-বি টি রোড, ব্যারাকপুর-ডানলপ, সোদপুর রুটের অটো আচমকাই বন্ধ করে দেওয়া হয়। বন্ধ হয়ে যায় ব্যারাকপুর স্টেশন থেকে মণিরামপুর ও আদালত রুটের অটোও। ব্যারাকপুর থেকে ঘোষপাড়া রোড ধরে শ্যামনগর বা ব্যারাকপুর-বারাসত রুটের অটোও খুব কম চলাচল করে। এ দিন দুপুরেই ব্যারাকপুর পুলিশ কমিশনারেটের ডিসি (ট্রাফিক) কল্যাণ মুখোপাধ্যায় দমদমে অটো ইউনিয়ন নিয়ে বৈঠক করেন। কল্যাণবাবু বলেন, "অটোচালক ও মালিকদের সমস্যার কথা শুনেছি। কিন্তু সরকারি নির্দেশ মানতেই হবে। বিষয়টি পর্যালোচনার পরে যথাযোগ্য জায়গায় জানানোর কথা বলেছি ওঁদের। তার পরে অটো চলাচল কিছুটা স্বাভাবিক হয়েছে।"

সিটুর উত্তর ২৪ পরগনা অটো ইউনিয়নের সম্পাদক অসীম দত্ত বলেন, "যে ভাবে গ্যাসের দাম ও বাজারদর ঊর্ধ্বমুখী, সেই তুলনায় অটোর ভাড়া বাড়েনি। তবে আমরা যাত্রীদের বিপাকে ফেলে অটো বন্ধের বিরোধী।" তৃণমূলের অটো ইউনিয়নের নেতা লালন পাসোয়ানের দাবি, "চালক ও মালিকেরাই অটো বন্ধ করছেন। তবে পরিবহণমন্ত্রীর হস্তক্ষেপে দু'এক দিনেই সমস্যা মিটবে।"

http://anandabazar.com/archive/1120828/28raj1.html

এন্টালিতে অটোচালকের হাতে সার্জেন্টের প্রহৃত হওয়ার ঘটনায় ধৃত ৩

ওয়েব ডেস্ক,এবিপি আনন্দ

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এন্টালিতে ট্রাফিক পুলিশকে মারধরের অভিযোগে গ্রেফতার ৩ যুবক৷ পুলিশ জানিয়েছে, গতকাল গভীর রাত পর্যন্ত এলাকায় তল্লাশি চালিয়ে ফকরুদ্দিন, সুরজিত্‍ পান এবং বাবাই নাথ নামে তিনজনকে গ্রেফতার করা হয়েছে৷ কর্তব্যরত অবস্থায় সরকারি কর্মীকে কাজে বাধা ও মারধরের অভিযোগে ধৃতদের বিরুদ্ধে মামলা রুজু করা হয়েছে৷ আজ তাদের শিয়ালদা আদালতে তোলা হবে৷ গতকাল এন্টালিতে অটোয় অতিরিক্ত যাত্রী নেওয়া আটকাতে যান এক ট্রাফিক সার্জেন্ট৷ অভিযোগ, সেইকারণে ওই ট্রাফিক সার্জেন্টকে মারধর করা হয়৷ এরপরই অটোচালকদের সঙ্গে পুলিশের খণ্ডযুদ্ধ বেধে যায়৷ অটোচালকদের পথ অবরোধে দীর্ঘক্ষণ ব্যাহত হয় যান চলাচল৷

http://abpananda.abplive.in/incoming/2014/01/29/article255342.ece/%E0%A6%8F%E0%A6%A8%E0%A7%8D%E0%A6%9F%E0%A6%BE%E0%A6%B2%E0%A6%BF%E0%A6%A4%E0%A7%87-%E0%A6%85%E0%A6%9F%E0%A7%8B%E0%A6%9A%E0%A6%BE%E0%A6%B2%E0%A6%95%E0%A7%87%E0%A6%B0-%E0%A6%B9%E0%A6%BE%E0%A6%A4%E0%A7%87-%E0%A6%B8%E0%A6%BE#.UukLXtK6Zkg


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